जीवन की ये बगिया मेरे श्याम ने ही है खिलाई,Verified Lyrics  

Jiwan Ki Ye Bagiya Mere Shyam Ne Hi Hai Khilai

जीवन की ये बगिया मेरे श्याम ने ही है खिलाई,
हर सुख दुख में मुझको पड़ता ये ही दिखाई,

जब जब मेरा मन घबराता मुझे कुछ भी समझ नही आता,
अपनो को में ना सुहाता उनपे में बोझ बन जाता,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है,
जब जब मेरा मन घबराता मुझे कुछ भी समझ नही आता,
अपनो को में ना सुहाता उनपे में बोझ बन जाता,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है…(2)

जीवन की ये बगिया मेरे श्याम ने ही है खिलाई,
हर सुख दुख में मुझको पड़ता ये ही दिखाई,
सुख बढ़ चढ़ साथ निभाता दुख द्वार खड़े रह जाता,
मेरा श्याम खड़ा मुस्कता में झूम झूम कर गाता,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है…(2)

जिसको ना हो भरोसा वो करके भरोसा देखे,
उसकी नाव ना डूबे उसे श्याम ही आकर खींचे,
झट नाव किनारे लगती हर उलझी गात सुलझती
फिर बात कभी ना बिगड़ती, बिगड़ती किस्मत भी सुधरती,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है,…(2)

कलयुग इनका प्यारे तू भी इनका हो जा,
सौप के इनको नैया इनकी शरण मेी हो जा,
आनंद ऐसा आएगा तू कभी ना भर्माएगा
पाकर के श्याम की मस्ती तू झूम झूम कर गाएगा,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है…(2)

जब जब मेरा मन घबराता मुझे कुछ भी समझ नही आता,
अपनो को में ना सुहाता उनपे में बोझ बन जाता,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है,
जब जब मेरा मन घबराता मुझे कुछ भी समझ नही आता,
अपनो को में ना सुहाता उनपे में बोझ बन जाता,
आता है श्याम मेरा आता है, आकर मुझे गले लगता है…(2)

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