तेरे दरबार माँ मैं पहली बार आया हूँVerified Lyrics 

Tere Darbar Maa Pehli Baar Aaya Hoon

दिल में अरमान मैया जाने कितना लाया हूँ,
तेरे दरबार माँ मैं पहली बार आया हूँ,
मन्नत की चुनरी चूड़ी धागा साथ लाया हूँ,
करले ना स्वीकार माँ मैं पहली बार आया हूँ।

तेरा भुलावा पा के आया तेरे धाम में,
गोद में बिठा के देदे अंचल की छाव रे,
रहु तेरे चरणों में बस यही आस माँ,
तेरा ही गुण गाउ अब दिन रात माँ,
तेरे चरणों की धूल माथे पर सजाया हूँ,
तेरे दरबार माँ मैं पहली बार आया हूँ।

अपने से दूर कभी होने नहीं देना माँ,
भूल से भी प्यार अपना खोने नहीं देना माँ,
तुमसे ही मेरा जीवन मेरा जहान है,
तेरे बिना ही मैया दुनिया वीरान है,
गैरो से नहीं माँ मैं अब अपनों से चोट खाया हूँ,
तेरे दरबार माँ मैं पहली बार आया हूँ।

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