सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गएVerified Lyrics 

Saat Samundar Langh Ke Hanumat Lanka Nagari Aa Gaye

सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए
हनुमत लंकानगरी आ गए।

ऐसा किया कमाल देखकर लंकावासी डर गए,
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए।

लंकापुर पहुंचे हनुमत जी, किया प्रभु का ध्यान,
मात सिया को खोजे पवनसुत लंका में अनजान,
असुरों संग बैठी मेरी माँ ये देख क्रोध में आ गए
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए॥

राम निशानी लिए पवनसुत पहुंचे माँ के पास
देख निशानी जनकनन्दिनी व्याकुल भई उदास
हनुमत मेरे प्राणनाथ को छोड़ कहाँ तुम आ गए
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए॥

भूख लगी ले आज्ञा पवनसुत चले बगिया की और,
तोड़-तोड़ फल खाने लगे और फेंके चारों और,
देख तबाही बगिया की रावण के सैनिक आ गए।
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए॥

बनाके बंदी रावण सन्मुख खूब किया अपमान
सहन हुआ नही रावण से लगवा दी पूंछ में आग
क्रोधित बजरंगी लंका में आग लगाके आ गए
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए।
(सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए)
हनुमत लंकानगरी आ गए॥

ऐसा किया कमाल देखकर लंकावासी डर गए,
सात समंदर लांघ के हनुमत लंकानगरी आ गए॥

Add a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *