सुखकर्ता दु:खहर्ता वार्ता विघ्नाची | मराठी आरतीVerified 

Sukhkarta Dukhharta Varta Vighnachi Aarti

सुखकर्ता दु:खहर्ता वार्ता विघ्नाची।
नुरवी पुरवी प्रेम कृपा जयाची॥

सर्वांगी सुंदर उटी शेंदुराची।
कंठी झळके माळ मुक्ताफळांची॥

जय देव, जय देव जय मंगलमूर्ती।
दर्शनमात्रे मन कामना पुरती॥

रत्नखचित फरा तुज गौरीकुमरा।
चंदनाची उटी कुमकुम केशरा॥

हिरेजडित मुकुट शोभतो बरा।
रुणझुणती नूपुरे चरणी घागरिया॥

जय देव जय देव…

लंबोदर पीतांबर फणिवरबंधना।
सरळ सोंड वक्रतुंड त्रिनयना॥

दास रामाचा वाट पाहे सदना।
संकटी पावावे, निर्वाणी रक्षावे, सुरवरवंदना॥

जय देव जय देव…

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