हर मन के संकट हरता, ये संकट मोचन दाता, अरे निज भक्तो के जीवन में, ये दया का रस बरसाता।। ◾️मंगल के दिन मंगलमय है, इस मालिक की पूजा, ऐसा दिन दयालु जग में, और नहीं कोई दूजा, इसका चिंतन पल भर में, जनम जनम के मैल धुलाता, हर मन कें संकट हरता, ये संकट
गले में सर्पो की माला, तन में बाघम्बर छाला, देवो में देव महान, बैठे लगा के बाबा ध्यान, डम डम डमरू बाजे, हाथो में त्रिशूल साजे, पिए भोला भंग तान, करते है जग का कल्याण॥ ◾️प्राणी जो जग से हारे, आते है इनके द्वारे, मिलता है पावन दर्शन, होते है वारे न्यारे, बम बम की
हनुमान जी हनुमान जी, दया भक्तो पे करदो हनुमान जी, तेरे द्वार पे जो आए, फूल भावना के लाए, उनकी झोलियाँ भर दो हनुमान जी, हनुमान जी हनूमान जी, दया भक्तो पे करदो हनुमान जी।। ◾️हे कंचन वर्ण प्रभु रघुवर के प्यारे, दिन हिन निर्बल संग सहारे, तेरे चरण कमलो में आए पुजारी, तेरे चरण
भक्तो की भीड़ है अपार, भोले जी के मंदिर में॥ ◾️भोले जी के मंदिर में, शंकर जी के मंदिर में, गूंजे सदा जयकार, भोले जी के मंदिर में॥ ◾️ढोलक नगाड़े और मिरदंग बाजे, झांझर की होये झनकार, भोले जी के मंदिर में॥ ◾️लेके कांवरिया बम बम बोले, नाच रहे नर नार, भोले जी के मंदिर
राम राम राम भजो राम भजो भाई। राम भजन बिन, जीवन सदा दुखदायी॥ ◾️ अति दुर्लभ मनुज देह सहज ही पायी। मुर्ख रहो राम भूल, विषयन मन लायी॥ ◾️ बालकपन दुःख अनेक भोगत ही विसारी। स्त्री सुत्त धन की अपार चिंता करना नाही॥ ◾️ राम नाम जपत त्रिविद ताप जगन साई। राम नाम मंगल करन
दोहा: राम नाम रटते रहो, जब तक घट में प्राण। कभी तो दीन दयाल के भनक पड़ेगी कान॥ ◾️ राम रमैया गाए जा राम से लगन लगाए जा। राम ही तारे राम उभरे, राम नाम दोहराए जा॥ ◾️ सुबह यहाँ तो श्याम वहां है, राम बिना आराम कहाँ है। राम रमैया गाये जा, प्रभु से
मिलता हैं सच्चा सुख केवल, शिवजी तुम्हारे चरणों में, यह विनती हैं पल छीन छीन की, रहे ध्यान तुम्हारे चरणों में।। ◾️चाहे बैरी सब संसार बने चाहे जीवन मुझ पर भार बने चाहे मौत गले का हार बने रहे ध्यान तुम्हारे चरणों में मिलता हैं सच्चा सुख केवल शिवजी तुम्हारे चरणों में यह विनती हैं
सुनले ओ सुनले, बजरंगी सत्संगी, आया मै तेरे द्वारे, माँ अंजनी के प्यारे, आया मै तेरे द्वारे, माँ अंजनी के प्यारे, सुनले ओ सुनले।। ◾️तुम दाता सारे जग के, दर का हूँ मै भिखारी, हरते हो कष्ट सबके, अब की है मेरी बारी, पार करो तुम सबकी नैया, बन करके तुम नाथ खिवैया, देते सदा
मैं तो दीवाना भोले का दीवाना, फिरता था एक पागल सड़को पे मारा मारा, फिरता था एक पागल सड़को पे मारा मारा, रहता था अलग सबसे दुनिया से कर किनारा, रहता था अलग सबसे दुनिया से कर किनारा, एक गोल काला पत्थर रखता था संग हरदम, एक गोल काला पत्थर रखता था संग हरदम, सर
शिव की नजरो में वो स्मार्ट है, श्लोक – याद क्यूँ करता नहीं ऐ बावरे मन में, राम थे भगवान दुःख लाखो सहे वन में, टल नहीं सकता वो होगा जो भी है होना, बस मुस्कुराले चार पल छोड़ दे ये रोना॥ ◾️सुख दुःख इस जीवन के दो पार्ट है, माना दुःख लम्बे और सुख