कृष्ण – राधिका गौरी से बृज की छोरी से मैया कराय दे मेरो ब्याह यशोदा – उम्र तेरी छोटी है नजर तेरी खोटी है कैसे करा दूँ तेरा ब्याह – राधिका गौरी से कृष्ण – जो नहीं ब्याह करावे, तेरी गैया न चारो आज के बाद मोरी मैया, तेरी देहली पर ना आऊँ आयेगा रे
जब से देखा तुम्हे, जाने क्या हो गया, ए खाटू वाले श्याम मैं तेरा हो गया । तू दाता है तेरा, पुजारी हूँ मैं, तेरे दर का ए बाबा, भिखारी हूँ मैं । तेरी चौखट पे दिल है, मेरा खो गया, ए मुरली वाले श्याम मैं तेरा हो गया ॥ जब से मुझको ए श्याम,
तेरी यमुना दा मीठा मीठा पानी मटकियाँ भर लेन दे – तेरी यमुना मैं तो जब यमुना तट पर आई आगे मिल गए कृष्ण कन्हाई मेरी, एक बात ना मानी – मटकियाँ भर लेन दे… अर्ज करी दोनों कर जोरि फिर भी उसने बांह मरोरि फिर खूब हुई खैंचताणि – मटकियाँ भर… करके बहाना पानी
सरवरीये री पाल खड़ी या, नानी नीर बहावे है, माँ के जाये बीर बिना कुण-2, भात भरण ने आवे है।। 1. एक दिन म्हारो भोळो बाबुल, अरबपति कहलायो थो, अन धन रा भण्डार घणेरा ओर छोर नहीं पायो थो। ऊँचा ऊँचा महल मालिया, नगर सेठ कहलायो थो, अणगिणती का नोकर चाकर, याद म्हने सब आवे
कोई प्यार से मेरे श्याम को सजादे गजब हो जायेगा गजब हो जायेगा||1|| गंगा जल से इन्हें नहलाओ, सारे जमाने का इतर लगाओ फिर रंग बसंती चोला पहनाले गजब हो जायेगा गजब हो जायेगा||2|| ज़िन्दगी के दुखो से कभी, उदास नहीं होते यूपी में रहने वाले कभी निराश नहीं होते इन हाथो की लकीरो पे
कुछ तो है सरकार तेरी सरकारी में, क्या रखा है झूठी दुनियादारी में, दो पहलु संसार के दो रुख वाली रीत, दिन अच्छे तो सब अपने दूरबीन मिले ना मीत, साथ तेरा.. मिले-2, लाचारी में, कुछ तो है सरकार तेरी सरकारी में, मौसम से बदले यहाँ, लोगो का व्यवहार झूठे रिश्ते, झूठे नाते, झूठा है
आये तेरे नवरात्रे मैया, आए तेरे नवरात्रे, कंजका पूजूँ ज्योत जगाऊँ, रोज़ करूँ जगराते मैया, आये तेरे नवरात्रे मैया, आए तेरे नवरात्रे। पहले नवरात्री खेतेरी बीजूं, धुप और दीप जलाऊँ, उसमें मैं गणपति की मैया, गौरी के दर्शन पाऊँ, कर दे कृपा दे हरियाली, ख़ुशहाली महारानी, अन्न धन जीवन के सुख सारे, तेरे द्वार से
जलवा कम न होगा मेरे खाटू के दरबार का, मैं हो गया दीवाना मेरे श्यामजी के प्यार का, मैं घना दीवाना हो गया इस कलयुग के अवतार का। हाथ में निशान लेके जाऊ खाटू धाम मैं अन मन धन वारु प्यारे श्री श्याम पे छोटा सा मंदिर बनवाऊ मेरे लख दातार का मैं हो गया